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mohanlal yadav
जो जीवन देखा गया वही उतरा कविता में
भोजपुरी के आधुनिक कवियों में चंद्रदेव यादव एक सशक्त हस्ताक्षर हैं। चंद्रदेवजी लोकधर्मी होने के साथ-साथ प्रयोगधर्मी भी हैं। भोजपुरी में छंद मुक्त कविताएं...
चुनमुन की कागज की नइया कहां गयी..
कवि-नाटककार मोहनलाल यादव स्वतःस्फूर्त और सहज रचनाकार हैं जिनकी कविताओं में न सिर्फ आम-जन का दुख-दर्द और संघर्ष के साथ ही व्यवस्था और सत्ता...