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#Allahabad High Court
उ प्र 69000 शिक्षक भर्ती घोटाला : सरकार ने पिछड़े, दलितों और आदिवासियों की हकमारी
वर्ष 2018 में 69000 हजार सहायक शिक्षकों के लिए हुई भर्ती के नतीजे आने के कुछ दिन बाद ही 19000 पदों पर आरक्षण को लेकर हुआ घोटाला सामने आया, जिसके बाद 13 अगस्त को इलाहाबाद हाई कोर्ट ने मेरिट लिस्ट को रद्द करतीन महीने में आरक्षण के आधार पर नई मेरिट लिस्ट बनाने का आदेश जारी किया है। असल में मंडल कमीशन लागू होने के तीन दशक बाद भी अन्य पिछड़ा वर्ग में शामिल जातियाँ अपना एक समाज नहीं बना पायी हैं। इसीलिए ये कभी एकजुट होकर अपनी जनसंख्या के मुताबिक 52% ओबीसी आरक्षण की माँग करती हुई दिखाई नहीं देती है। हालाँकि इनमें से कुछ जातियाँ राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और भाजपा का एजेंडा बढ़ाते हुएओबीसी वर्गीकरण की माँग करती हुई दिखाई देती है।
सांप्रदायिक राजनीति को बढ़ावा देने का मुद्दा है हलाल प्रतिबंध
भारत के सबसे अधिक आबादी वाले राज्य पर एक नया विभाजनकारी एजेंडा हावी हो गया है। 18 नवंबर को, उत्तर प्रदेश सरकार ने हलाल-प्रमाणित...
पूर्व विधायक पवन पांडेय धोखाधड़ी के मामले में गिरफ्तार
लखनऊ (भाषा)। उत्तर प्रदेश पुलिस के विशेष कार्यबल (एसटीएफ) ने शुक्रवार को अम्बेडकर नगर जिले के पूर्व विधायक पवन पांडेय को बाराबंकी जिले के...
यूपी सरकार से इलाहाबाद हाईकोर्ट ने पूछा ट्रांसजेंडर के लिए 10 साल में कितने शौचालय बनाये
प्रयागराज। ट्रांसजेंडर समुदाय के लोग सार्वजनिक जीवन में किस शौचालय का इस्तेमाल करें? महिला शौचालय या पुरुष शौचालय? क्योंकि आम जीवन में ट्रांसजेंडर समुदाय...
सरकारी अतिक्रमण और बर्बरता की कहानी कहता बैरवन
अपर्णा -
अपनी ही ज़मीन पर अपराधी बना दिये जाने वाले गाँववासियों के रक्तरंजित होने की इस कहानी की शुरुआत तो काफी पहले से हो गई थी लेकिन उसे अंजाम अब दिया गया है। यह ध्यान देने की बात है कि पूर्वांचल में जहाँ-जहाँ सरकारी योजनाओं के लिए ज़मीन ली जा रही है वहाँ यह कार्य ग्रामीणों की आम सहमति की बजाय ज़ोर-ज़बरदस्ती से किया जा रहा है। हर जगह किसान इसी बात का विरोध कर रहा है और हर जगह प्रशासन इसी तरह धूर्तता और बर्बरता से ज़मीन हड़प लेना चाहता है।

