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musafir baitha

मुकेश ने कबीर की परंपरा में मगहर का प्रकाशन चुना

मुकेश मानस का 50 से कम की उम्र में हमारे बीच न रहना जीवन की अनिश्चितता और शरीर की नश्वरता को नज़दीक से बता गया है। बीमारी से जकड़े मुकेश…
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कोई बिगड़े तो ऐसे, बिगाड़े तो ऐसे! (राजेन्द्र यादव का मूल्यांकन और स्मरण)

(राजेन्द्र यादव का मूल्यांकन और स्मरण) कोई बिगाड़ने वाला हो तो साहित्यकार राजेंद्र यादव एवं उनकी हंस जैसा, और बिगाड़े तो ऐसे जैसे राजेन्द्र…
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