राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा, ‘इन युवाओं को बिना काम के देखकर मुझे दुख होता है। वे मध्य प्रदेश का भविष्य हैं। यदि यह उनका भविष्य है, तो मध्य प्रदेश का भविष्य क्या होगा?’
राज्य में 17 नवंबर को विधानसभा चुनाव होंगे।
कमलनाथ ने कहा, ‘वे एक ऐसे राज्य में रोजगार के अवसरों के बिना रह रहे हैं, जो भ्रष्टाचार और घोटालों से ग्रस्त है। उनके हाथ काम चाहते हैं और वह तब तक नहीं मिलेगा, जब तक राज्य में निवेश नहीं आएगा।’
उन्होंने कहा, ‘मंदिर और मस्जिद जाने से रोजगार सृजित नहीं होंगे। निवेश से आर्थिक गतिविधियां बढ़ेंगी, लेकिन युवाओं के लिए बनाई गई योजनाएं घोटाले वाली नहीं होनी चाहिए। यदि 50 प्रतिशत कमीशन कायम रहेगा, तो योजनाओं से क्या फायदा होगा।’
कांग्रेस नेता ने दावा किया कि राज्य में निवेश नहीं आ रहा है, क्योंकि किसी को भी मध्य प्रदेश पर भरोसा नहीं है। उन्होंने कहा कि तमिलनाडु और केरल में उत्पाद बेचने वाले व्यवसायी हरियाणा और पंजाब में उद्योग स्थापित करते हैं। कमलनाथ ने कहा, ‘जब मैं मुख्यमंत्री था, तब मैं उद्योगपतियों से बात करता था। वे कहते थे कि मध्य प्रदेश में प्रवेश करते ही उन्हें पैसे खर्च करने पड़ते हैं। मैंने मध्य प्रदेश के लिए एक नयी पहचान बनाना शुरू किया, लेकिन मेरी सरकार गिरा दी गई।’
कांग्रेस नेता ने दावा किया कि उन्होंने दिसंबर 2018 से मार्च 2020 के बीच मुख्यमंत्री के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान माफियाओं के खिलाफ अभियान चलाया। कमलनाथ ने चुटकी लेते हुए कहा, ‘मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने 18 वर्षों में 22,000 वादे किए। उनकी वादा मशीन दोगुनी गति से चल रही है। उनकी झूठ बोलने की मशीन भी दोगुनी गति से चल रही है।’
एचआईवी संक्रमित मरीज को थप्पड़ जड़ने वाले जूनियर डॉक्टर ने मच्छर भगाने वाली दवा पी
इंदौर (भाषा)। स्थानीय सरकारी अस्पताल में पैर की टूटी हड्डी का इलाज कराने आए एचआईवी संक्रमित मरीज को थप्पड़ जड़ने वाले 25 वर्षीय जूनियर डॉक्टर ने कथित तौर पर मच्छर भगाने वाली दवा पीकर जान देने की कोशिश की। पुलिस के एक अधिकारी ने शनिवार को यह जानकारी दी।
संयोगितागंज पुलिस थाने के प्रभारी विजय तिवारी ने बताया कि शासकीय महाराजा यशवंतराव चिकित्सालय (एमवायएच) में एचआईवी संक्रमित मरीज के संपर्क में आने के बाद से अवसाद में चल रहे जूनियर डॉक्टर ने शुक्रवार रात दो बोतलों में रखे मच्छर भगाने वाली दवा को पी लिया।
उन्होंने बताया,‘एमवायएच में भर्ती जूनियर डॉक्टर की हालत गंभीर है। फिलहाल उसका बयान दर्ज नहीं किया जा सका है।’ चश्मदीदों ने बताया कि आपातकालीन चिकित्सा विभाग में पदस्थ जूनियर डॉक्टर के मच्छर भगाने वाली दवा पीने के बाद उसके नाराज साथियों ने बड़ी तादाद में एमवायएच में जुटकर प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी और प्रदर्शन किया।
प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि एचआईवी संक्रमित मरीज अपनी इस बीमारी की जानकारी छिपाकर पैर की टूटी हड्डी का इलाज करा रहा था और मामले में जूनियर डॉक्टर का पक्ष सुने बगैर ही उसे तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया था।
इंदौर के संभाग आयुक्त (राजस्व) मालसिंह भयडिया ने कहा, ‘कई जूनियर डॉक्टर से हमारी चर्चा हुई है। उन्होंने हमें अपनी कुछ समस्याएं बताई हैं जिनका उचित समाधान किया जाएगा। हम एमवायएच में मरीजों को श्रेष्ठ चिकित्सा सेवाएं मुहैया कराते रहने के लिए कृतसंकल्प हैं।’
अधिकारियों ने बताया कि पैर की टूटी हड्डी के इलाज के लिए उज्जैन के एक अस्पताल से 28 अक्टूबर को एमवायएच भेजा गया 45 वर्षीय पुरुष ‘ह्यूमन इम्यूनोडीफिशियेंसी वायरस’ (एचआईवी) से पहले से ही संक्रमित है। एचआईवी संक्रमण से होने वाली बीमारी को एड्स कहते हैं। उन्होंने बताया कि एमवायएच में हड्डी का इलाज शुरू किए जाने से पहले जूनियर डॉक्टर को मरीज के एचआईवी संक्रमण की जानकारी कथित तौर पर नहीं दिए जाने को लेकर मरीज और उसके तीमारदार से जूनियर डॉक्टर का विवाद हुआ था। घटना के कथित वीडियो में जूनियर डॉक्टर स्ट्रेचर पर लेटे मरीज को लगातार थप्पड़ जड़ने के साथ ही उसके साथ गाली-गलौज करता भी नजर आ रहा है।
नीमच (भाषा)। कांग्रेस की मध्य प्रदेश इकाई के अध्यक्ष कमलनाथ ने शुक्रवार को कहा कि मंदिरों और मस्जिदों में जाने से रोजगार सृजित नहीं होगें, बल्कि निवेश से नौकरियां आएंगी। कमलनाथ ने यहां एक जनसभा में दावा किया कि राज्य में निवेश नहीं आता, क्योंकि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के शासन में किसी को इस पर विश्वास नहीं है।