दिल्ली की मंत्री एवं आम आदमी पार्टी (आप) की वरिष्ठ नेता आतिशी ने शुक्रवार को ‘कारण बताओ’ नोटिस मिलने के बाद निर्वाचन आयोग (ईसी) पर निशाना साधा और सवाल किया कि क्या यह भाजपा का “सहायक संगठन” है ?
आतिशी ने 2 अप्रैल को भाजपा पर आरोप लगाया था कि भाजपा ने उनसे संपर्क किया और उन्हें या तो पार्टी में शामिल होने या एक महीने के भीतर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा गिरफ्तारी के लिए तैयार रहने के लिए कहा था। आतिशी के इस आरोप के बाद भाजपा ने निर्वाचन आयोग में शिकायत की।
इस मामले पर आज चुनाव आयोग ने आज आतिशी के खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया है। निर्वाचन आयोग ने उनके इस बयान का तथ्यों के साथ समर्थन करने को कहा कि भाजपा ने पार्टी में शामिल होने के लिए उनसे संपर्क किया था।
नोटिस जारी होने के बाद आप नेता आतिशी ने निर्वाचन आयोग के रुख और कार्रवाई पर सवाल उठाए हैं।
आप नेता आतिशी ने एक संवाददाता सम्मेलन में आरोप लगाया कि निर्वाचन आयोग द्वारा उन्हें ईमेल के जरिए नोटिस भेजे जाने से एक घंटे पहले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने इसे मीडिया में लीक कर दिया। चुनाव आयोग का नोटिस भाजपा के पास पहले कैसे पहुंच गया ?
Election Commision Of India भाजपा का अनुशंगिक संगठन बन कर रह गया है।
जब ED, Model Code Of Conduct लगने के बाद एक सिटिंग मुख्यमंत्री Arvind Kejriwal को गिरफ़्तार करती है
जब Income Tax Department Congress के बैंक अकाउंट सीज करता है
तब Election Commission, ED और इनकम टैक्स… pic.twitter.com/pDjKE3LYYo
— AAP (@AamAadmiParty) April 5, 2024
उन्होंने सवाल किया कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी और चुनाव से पहले कांग्रेस के बैंक खाते को ‘फ्रीज’ (लेनदेन पर रोक) किए जाने के बाद निर्वाचन आयोग ने संबंधित केंद्रीय एजेंसियों को नोटिस क्यों नहीं जारी किया? उन्होंने सवाल किया कि क्या निर्वाचन आयोग भाजपा का “सहायक संगठन” है ?
आगे उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी (आप) ने भाजपा के “आपत्तिजनक” होर्डिंग और पोस्टर पर निर्वावन आयोग को कई पत्र लिखे, लेकिन भाजपा पर कोई कार्रवाई नहीं की गई।
आतिशी ने कहा कि वह नोटिस का जवाब देंगी और निर्वाचन आयोग को देश में स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने हेतु अपेक्षित तटस्थता और गैर-पक्षपातपूर्ण रवैये की याद दिलाएंगी।