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ग्राउंड रिपोर्ट

वाराणसी : ग्रामीण परिवेश की बालिकाओं के लिए कबड्डी में काफी संभावनाएं हैं

समाज में खेल के क्षेत्र में आज लड़कियां भी आगे आ रही हैं। शहर में तो खेल में आगे बढ़ने के लिए कोच और स्टेडियम आसानी से उपलब्ध होते हैं लेकिन गाँव में इन सुविधाओं का अभाव होता है। ग्रामीण परिवेश की बालिकाओं के लिए कबड्डी, कुश्ती, एथलेटिक्स में काफी सम्भावना है, यह बात रविवार को सामाजिक संस्था आशा ट्रस्ट द्वारा भंदहा कला (कैथी) गाँव में ई लाइब्रेरी का उदघाटन करते हुए अपने संबोधन में कहा।

ग्रामीण परिवेश की बालिकाओं के लिए कबड्डी, कुश्ती, एथलेटिक्स में काफी सम्भावना है बशर्ते उन्हें सही मार्गदर्शन और अवसर मिल सके यह कहना है अंतरराष्ट्रीय स्तर के कबड्डी खिलाड़ी और लक्ष्मण पुरस्कार से सम्मानित ताडकेश्वर सिंह यादव का। वे रविवार को सामाजिक संस्था आशा ट्रस्ट द्वारा भंदहा कला (कैथी) गाँव में बालिकाओं के लिए संचालित ई लाइब्रेरी में आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हमारे गाँवो में अनेक प्रतिभाएं छिप हुयी हैं जिन्हें तलाशने और तराशने की जरूरत है। ताडकेश्वर यादव वर्तमान में रेलवे में कार्यरत हैं और नए खिलाड़ियों को नि:शुल्क प्रशिक्षित करते हैं।
इसके पूर्व संस्था के सदस्यों द्वारा ताडकेश्वर सिंह यादव एवं उनके साथ आये हुए कबड्डी और शूटिंग बॉल कोच रमेश कुमार का माल्यार्पण किया गया एवं अंग वस्त्र और स्मृति चिन्ह देकर अभिनंदन किया गया। इस अवसर पर संस्था के समन्वयक वल्लभाचार्य पाण्डेय ने कहा कि ग्रामीण परिवेश की बालिकाओं को स्कूली शिक्षा के दौरान खेल का उचित प्रशिक्षण, खेल सामग्री और आवश्यक पोषण दिया जाना चाहिए तभी हम अंतर्राष्ट्रीय प्रतियोगिताएं में अधिक पदक पा सकेंगे। ताडकेश्वर यादव ने आशा लाइब्रेरी से जुडी बालिकाओं को कबड्डी खेल में अच्छा करने के लिए कुछ उपयोगी बातें सिखाई। कार्यक्रम का संचालन अमित राजभर और धन्यवाद ज्ञापन रणवीर पाण्डेय किया। कार्यक्रम में प्रमुख रूप से सौरभ चन्द्र, प्रदीप सिंह, अंशिका, मोनी, ज्योति सिंह, नंदिनी, महक, श्रुति, कंचन, कशिश, मानवी, पूजा, वन्दना , गुडिया, अंशी, रूपांशी, पूनम, रीमा आदि की उपस्थिति रही।
गाँव के लोग
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