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ग्राउंड रिपोर्ट

वाराणसी : वयस्क शिक्षा के लिए डिजिटल उपकरण का वितरण

शिक्षाप्लस परियोजना का लक्ष्य ग्रामीण समुदायों को शिक्षित और सशक्त बनाना है। इसके तहत ग्रामीण भारत में वंचित तबकों को शिक्षित कर उनके जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने की परिकल्पना की गई है।

जनमित्र न्यास एवं शिव नादर फाउंडेशन के संयुक्त तत्वाधान में वयस्कों के बीच साक्षरता संचालन के लिए ‘शिक्षाप्लस परियोजना’ के अंतर्गत जन शिक्षकों को 19 लैपटॉप और प्रोजेक्टर देकर साक्षरता कार्यक्रम का शुभारम्भ किया गया।

जनमित्र न्यास एवम् शिव नादर फाउंडेशन  की साझेदारी में संचालित शिक्षाप्लस  परियोजना के अंतर्गत आज बडागांव ब्लाक के अंतर्गत कठिरांव पंचायत भवन में आयोजित एक कार्यक्रम में 19 जन शिक्षकों को वयस्क साक्षरता अभियान के लिए 19 लैपटॉप और प्रोजेक्टर वितरित किए गए। यह पहल सतत विकास लक्ष्यों विशेषकर लक्ष्य 4 (गुणवत्तापूर्ण शिक्षा) और लक्ष्य 5 (लैंगिक समानता) को प्राप्त करने की दिशा में एक उत्कृष्ट प्रयास है।

इस अवसर पर बरजी और कठीराव के ग्राम प्रधानों की उपस्थिति में कार्यक्रम के मुख्य अतिथि बडागांव ब्लाक खण्ड विकास अधिकारी राजेश कुमार सिंह एवं शिक्षा विभाग से ए.आर.पी. श्री सतीश कुमार सिंह शामिल हुए। अधिकारी ने इस पहल की सराहना करते हुए इसे ग्रामीण साक्षरता और सामुदायिक विकास में सुधार के लिए एक अनुकरणीय कदम बताया। साथ ही जन शिक्षकों को प्रोत्साहित करते हुए सामाजिक विकास कि योजना से वंचित व्यक्तियों को जोड़ने का सुझाव भी दिया गया।

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जनमित्र न्यास और शिव नादर फाउंडेशन तहत शिक्षाप्लस परियोजना का उद्देश्य वयस्क साक्षरता केंद्रों की स्थापना करना और 2,500 शिक्षार्थियों को डिजिटल साधनों और आधुनिक पद्धतियों के माध्यम से साक्षर बनाना है। साक्षरता सशक्तिकरण कार्यक्रम के अधीन स्वास्थ्य जागरूकता, वित्तीय साक्षरता और सरकारी योजनाओं की जानकारी को शिक्षा का हिस्सा बनाया गया जिसमें सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी आधारित शिक्षण पद्धतियों से विशेष सहायता लिया गया है।

जनमित्र न्यास ने परियोजना को और अधिक प्रभावी बनाने के लिए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री और वाराणसी के जिलाधिकारी को पत्र लिखकर सहयोग का अनुरोध किया है। पत्र में परियोजना के तहत साक्षरता केंद्रों की स्थापना और सरकारी योजनाओं के समन्वय पर जोर दिया गया है

जनमित्र न्यास के वरिष्ठ सलाहकार लेनिन रघुवंशी द्वारा अपने वक्तव्य में कहा गया कि, ‘शिक्षाप्लस परियोजना केवल साक्षरता प्रदान करने का माध्यम नहीं है, बल्कि यह जीवन को सशक्त बनाने, सामाजिक जागरूकता बढ़ाने और निर्णय लेने की क्षमता विकसित करने का साधन है। शिव नादर फाउंडेशन के साथ यह साझेदारी शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्टता का प्रतीक है।’

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जनमित्र न्यास कि मैनेजिंग ट्रस्टी के द्वारा बताया गया कि, शिक्षाप्लस परियोजना का लक्ष्य ग्रामीण समुदायों को शिक्षित और सशक्त बनाना है। इसके तहत ग्रामीण भारत में वंचित तबकों को शिक्षित कर उनके जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने की परिकल्पना की गई है।

कार्यक्रम में संस्था के वित्तीय निदेशक रिंकू पाण्डेय कार्यक्रम समन्वयक मंगला प्रसाद, सहित अरविंद कुमार, संजय राजभर, विनोद कुमार, दिनेश यादव, संदीप कुमार, सोनी, प्रिया, दीपा,  दीपक पाण्डेय एवं सैकड़ो लोग शामिल रहे।(प्रेस विज्ञप्ति)

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