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वाराणसी : काशी विद्यापीठ में रिजल्ट में देरी से भड़के छात्रों ने प्रशासनिक भवन में जड़ा ताला

रिजल्ट घोषित होने में हो रही देरी से प्रशासनिक भवन के सामने छात्र नारेबाजी करने लगे। थोड़ी ही देर में छात्र प्रशासनिक भवन के मुख्य गेट में ताला जड़ दिए, जिससे अफरातफरी की स्थिति उत्पन्न हो गई।

वाराणसी। महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ प्रशासन द्वारा दो सत्रों का रिजल्ट घोषित नहीं करने से उत्तेजित छात्रों ने प्रशासनिक भवन में ताला जड़ दिया। इस दौरान छात्रों की सुरक्षाकर्मियों से नोंकझोंक भी हुई। रिजल्ट घोषित होने में हो रही देरी से प्रशासनिक भवन के सामने छात्र नारेबाजी करने लगे। थोड़ी ही देर में छात्र प्रशासनिक भवन के मुख्य गेट में ताला जड़ दिए, जिससे अफरातफरी की स्थिति उत्पन्न हो गई।

इस दौरान उपस्थित छात्रों ने आरोप लगाया कि विद्यापीठ प्रशासन रिजल्ट देने में जान-बूझकर लेट-लतीफी कर रहा है। छात्र विकास मणि पाल का कहना है कि कई विद्यार्थियों के पिछले सत्र के रिजल्ट रूके हुए हैं, जबकि कई छात्रों के रिजल्ट के पूर्णांक और प्राप्तांक में गड़बड़ियां हैं ।

छात्र नेता सचिन कुमार कहते हैं, ‘छात्रवृत्ति फार्म भरने के दौरान इतनी गड़बड़ी हुई है कि सैकड़ों छात्रों का फार्म रिजेक्ट होने की कगार पर हैं। इसके लिए कौन जिम्मेदार है? क्या प्रशासन अपनी गलती को मानते हुए उन विद्यार्थियों का फार्म स्वीकार करेगा? विश्वविद्यालय प्रशासन सीधे-सीधे इनका फार्म रिजेक्ट कर देगा। इसमें उन छात्रों की क्या गलती है? आज मां-बाप कितनी मेहनत करके अपने बच्चों को पढ़ा रहे हैं और विश्वविद्यालय प्रशासन को इससे कोई लेना देना नहीं है।’

सचिन कुमार आगे कहते हैं, ‘विश्वविद्यालय प्रशासन चाहे तो छोटी छोटी चीजों पर काम कर छात्रों के बडे़ नुकसान को रोक सकता है, लेकिन विश्वविद्यालय प्रशासन इस दिशा में कोई खास पहल नहीं कर रहा है।’

इससे पहले छात्रों की ओर से प्रशासनिक भवन में ताला लगाए जाने के विश्वविद्यालय सुरक्षाकर्मियों से उनकी झड़प हो गई। इस बीच चीफ प्रॉक्टरअमिता सिंह आ गईं और उन्होंने छात्रों को समझाकर मामले को शांत कराया। इस मामले में चीफ प्राक्टर ने कहा कि कुछ गड़बड़ियां हैं, जिसे शीघ्र ही दूर कर लिया जाएगा।

बहरहाल, छात्रों की मांगे अपनी जगह सही है। विश्वविद्यालय प्रशासन को अपनी कमियों को शीघ्र ही दूर करने का प्रयास करना चाहिए जिससे छात्रों का किसी भी प्रकार से नुकसान न होने पाए।

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