योगी आदित्यनाथ के बयान में कश्मीर का जिक्र है, जिसे एक तरह से नरेंद्र मोदी की हुकूमत ने बर्बाद कर दिया है। वहां 370 और 35ए को निष्प्रभावी बनाने के वक्त पूरे प्रांत को नजरबंद कर दिया गया था और आज भी इसकी हालत वैसी ही है। रही बात बंगाल और केरल की तो इन दोनाें राज्यों ने अबतक उत्कृष्टता के अनेक मानदंड स्थापित किये हैं। मसलन, दोनों राज्यों में भूमि सुधार देश में एक नजीर है। वहीं शिक्षा के मामले में भी ये दोनों राज्य यूपी से लाख गुणा बेहतर हैं।

लालू प्रसाद ने प्रश्नकर्ता पत्रकार की उम्मीदों पर पानी फेर दिया। उन्होंने कुछ ऐसा कहा कि पत्रकार के चैनल तक ने उनके बयान को सुनकर हाथ खड़े कर लिये। दरअसल, हुआ यह कि लालू प्रसाद ने कहा कि मामला हिंदू-मुस्लिम की सियासत का नहीं है। इस देश को सिविल वार की तरफ धकेला जा रहा है।
बंगाल और केरल की तुलना में यूपी की बदहाली को समझ सकते हैं। यह आंकड़ा प्रति व्यक्ति आय का है। भारत सरकार के वित्त मंत्रालय ने पिछले वर्ष यह आंकड़ा जारी किया है कि केरल में प्रति व्यक्ति वार्षिक आय 2 लाख 45 हजार 323 रुपए, बंगाल में यह आंकड़ा 1 लाख 48 हजार 103 रुपए रहा तो यूपी में केवल 73 हजार 792 रुपए।
नवल किशोर कुमार फॉरवर्ड प्रेस में संपादक हैं।
यह भी पढ़िए :
आंकड़ों की बाजीगरी में नीतीश नरेंद्र मोदी के उस्ताद (डायरी 10 फरवरी, 2022)
[…] यूपी के राज ठाकरे बन रहे मोदी-योगी (डा… […]