भारतीय स्त्री ने खुद के साथ हुई बेईमानी की शिकायत कभी नहीं की और सिर्फ अपने फायदे के बारे में कभी नहीं सोचा। उसने नदियों की तरह सभी की भलाई के लिए काम किया है और मुश्किल वक्त में हिमालय की तरह अडिग रही हैं।' इस तरह की पोस्ट के साथ उन्होंने यह बताने की पूरी कोशिश की है यह उनकी पार्टी का सपना है जो लंबे वक्त के बाद पूरा हो रहा है और इस सपने के साथ आगे बढ़ने के लिए कांग्रेस ने भाजपा को धन्यवाद भी दिया है।
गौरतलब है कि 29 मार्च 2022 को हाईस्कूल की संस्कृत की परीक्षा थी। 28 मार्च की रात को ही बलिया में प्रश्नपत्र व मिलती-जुलती हल की हुई कॉपी वायरल हो गई। 29 मार्च की सुबह छह बजे पत्रकार अजीत ओझा ने इसे तत्कालीन जिला विद्यालय निरीक्षक को भेजकर जांच करने की बात कही। चार घंटे तक कोई जवाब नहीं आया। दस बजे डीएम इंद्रविक्रम सिंह ने फोन कर प्रश्नपत्र अपने व्हाट्सएप पर मांगा। पत्रकार ने वायरल पर्चा उन्हें भी भेज दिया। फिर भी वायरल प्रश्नपत्र से मिलते-जुलते पेपर से ही परीक्षा करवा ली गई।